देश में स्वास्थ्य सेवा की समग्र स्थिति और अधिक बेहतर करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार (26 फरवरी) को वर्चुअल माध्यम से आयुष मंत्रालय के 2 संस्थानों का उद्घाटन किया। उन्होंने हरियाणा के झज्जर में 'केंद्रीय योग और प्राकृतिक चिकित्सा अनुसंधान संस्थान' (सीआरआईवाईएन) और महाराष्ट्र के पुणे में राष्ट्रीय प्राकृतिक चिकित्सा संस्थान (एनआईएन)- 'निसर्ग ग्राम' का उद्घाटन किया। इस अवसर पर पीएम मोदी ने कहा कि हमारी सरकार की प्राथमिकता रोग प्रतिरोधक क्षमता और रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाना है। हमने पोषण पर जोर दिया है। रोगों से बचाव के लिए योग, आयुर्वेद और स्वच्छता पर ध्यान केंद्रित किया गया है। उन्होंने कहा कि हमने पारंपरिक भारतीय चिकित्सा और आधुनिक चिकित्सा पद्धतियों, दोनों को बढ़ावा दिया है।
उल्लेखनीय है कि पुणे स्थित राष्ट्रीय प्राकृतिक चिकित्सा संस्थान (NIN) व झज्जर के देवरखाना गांव में केंद्रीय योग और प्राकृतिक चिकित्सा अनुसंधान संस्थान (CRIYN) पारंपरिक स्वास्थ्य देखभाल प्रणालियों के माध्यम से समग्र स्वास्थ्य सेवा को बढ़ावा देते हैं। ये इंस्टिट्यूट उभरती स्वास्थ्य देखभाल चुनौतियों, विशेष रूप से गैर-संचारी रोगों (एनसीडी) के बढ़ते प्रसार को रोकने और उनसे निपटने के लिए जल चिकित्सा, मालिश, नैदानिक पोषण और योग चिकित्सा जैसे विविध दृष्टिकोणों का उपयोग करते हैं। गौरतलब है कि अत्याधुनिक बुनियादी ढांचे और शैक्षणिक कार्यक्रमों के साथ ये संस्थान व्यक्तियों को अपने स्वास्थ्य को प्राथमिकता देने के लिए सशक्त करेंगे।
आयुष मंत्रालय ने एक बयान में जानकारी देते हुए बताया कि हरियाणा के झज्जर स्थित केंद्रीय योग और प्राकृतिक चिकित्सा अनुसंधान संस्थान का निर्माण आयुष मंत्रालय के अधीन किया गया है। यह एक शीर्ष स्तरीय योग और प्राकृतिक चिकित्सा अनुसंधान व शिक्षा केंद्र है। इस परियोजना के माध्यम से तृतीयक स्तर के योग और प्राकृतिक चिकित्सा स्वास्थ्य सेवा से संबंधित बुनियादी ढांचे का निर्माण किया जाएगा। इस संस्थान में ओपीडी, उपचार ब्लॉक, शैक्षणिक ब्लॉक, छात्रावास व आवासीय ब्लॉक, योग ब्लॉक और आहार ब्लॉक के साथ 200 बिस्तरों वाला अस्पताल भी है। 19 एकड़ पर निर्मित इस परियोजना को 63.88 करोड़ रुपये की लागत से पूरा किया गया है।
वहीं, निसर्ग ग्राम एक 250 बिस्तरों वाला अस्पताल है, जिसमें बहु-विषयक अनुसंधान और विस्तार सेवा केंद्र के साथ-साथ अंतरस्नातक (यूजी)/परास्नातक(पीजी और पैरा मेडिकल पाठ्यक्रमों के लिए एक प्राकृतिक चिकित्सा मेडिकल कॉलेज है। इसके अलावा कॉलेज में विभिन्न आवासीय और गैर-आवासीय सुविधाएं भी हैं। इनमें लड़कों और लड़कियों के छात्रावास, सभागार, योग हॉल, कॉटेज हैं। बता दें कि प्रसिद्ध गांधी मेमोरियल हॉल भी इस परिसर का एक अभिन्न अंग है। 25 एकड़ पर निर्मित इस परियोजना की कुल लागत 213.55 करोड़ रुपये है।
इस अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारी सरकार की प्राथमिकता रोग प्रतिरोधक क्षमता और रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाना है। हमने पोषण पर जोर दिया है। रोगों से बचाव के लिए योग, आयुर्वेद और स्वच्छता पर ध्यान केंद्रित किया गया है। हमने पारंपरिक भारतीय चिकित्सा और आधुनिक चिकित्सा पद्धतियों, दोनों को बढ़ावा दिया है।
उन्होंने कहा कि हमारी सरकार लगातार यह प्रयास कर रही है कि हर व्यक्ति को, चाहे वह गरीब हो या मध्यम वर्ग, उन्हें बचत के साथ बेहतर उपचार प्राप्त हो सके।