उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि यह पिछले छह दशकों में अभूतपूर्व है। उन्होंने कहा कि 1962 के बाद यह पहली बार है कि किसी प्रधानमंत्री को तीसरा कार्यकाल मिला है।
उपराष्ट्रपति के आवास पर राज्यसभा इंटर्नशिप कार्यक्रम के प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए धनखड़ ने प्रशिक्षुओं से आग्रह किया कि वे अपने विचार व्यक्त करने के लिए सोशल मीडिया की शक्ति का उपयोग करें और लोकतंत्र में हानिकारक प्रवृत्तियों के प्रति सतर्क रहें। सकारात्मक विकास के लिए संसद में रचनात्मक बहस, संवाद और चर्चा की भूमिका पर जोर देते हुए धनखड़ ने प्रशिक्षुओं से आग्रह किया कि यदि वे इन सिद्धांतों से कोई कमी देखते हैं तो वे जनमत को संगठित करें।
भारतीय संविधान से परामर्श करने पर दिया जोर
उन्होंने आगे कहा कि भारत कोई सोया हुआ दानव नहीं है, बल्कि हम एक गतिशील देश हैं, जो हर दिन और हर पल आगे बढ़ रहा है। स्पष्टता के लिए भारतीय संविधान से परामर्श करने के महत्व पर जोर देते हुए धनखड़ ने प्रशिक्षुओं को सलाह दी कि जब भी कोई संदेह हो तो वे भारतीय संविधान का पाठ पढ़ें।
इंटर्नशिप कार्यक्रम को एक संसदीय स्टार्टअप बताते हुए धनखड़ ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे नागरिक अप्रत्यक्ष रूप से भाग ले सकते हैं और संसद सदस्य बने बिना भी याचिकाओं के माध्यम से सार्वजनिक मुद्दों को उठा सकते हैं। इस अवसर पर उपराष्ट्रपति की पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़, राज्यसभा के उप सभापति हरिवंश, राज्यसभा के महासचिव पी.सी. मोदी, उपराष्ट्रपति के सचिव सुनील कुमार गुप्ता, राज्यसभा के सचिव रजीत पुन्हानी और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।