भारत और कतर की साझेदारी अब सिर्फ पारंपरिक व्यापार तक सीमित नहीं रहेगी बल्कि अब इसका फोकस स्थिरता, तकनीक, ऊर्जा और उद्यमिता पर भी होगा। केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने यह बात नई दिल्ली में इंडिया-कतर बिजनेस फोरम के उद्घाटन सत्र के दौरान कही।
केंद्रीय मंत्री गोयल ने कहा कि भारत-कतर संबंध भरोसे, व्यापार और परंपरा पर आधारित हैं लेकिन बदलते वैश्विक व्यापार परिदृश्य में अब यह सहयोग आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI), इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT), क्वांटम कंप्यूटिंग और सेमीकंडक्टर्स जैसे अत्याधुनिक क्षेत्रों में भी विस्तार कर रहा है। उन्होंने कहा कि यह बदलाव ऐसे समय में हो रहा है जब दुनिया सामरिक तनाव, जलवायु परिवर्तन, साइबर सुरक्षा और स्थानीय उत्पादन को बढ़ावा देने जैसी चुनौतियों का सामना कर रही है।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भारत और कतर एक-दूसरे की पूरक हैं और दोनों देश मिलकर समृद्धि और साझा भविष्य की दिशा में काम कर सकते हैं। उन्होंने हाल ही में हुए दो महत्वपूर्ण समझौतों पहला कतर बिजनेसमैन एसोसिएशन (QBA) और भारतीय उद्योग परिसंघ (CII) के बीच और दूसरा इन्वेस्ट कतर और इन्वेस्ट इंडिया के बीच का जिक्र किया। साथ ही, उन्होंने घोषणा की कि व्यापार और वाणिज्य पर बनी संयुक्त कार्य समूह को मंत्री स्तर तक बढ़ाया जाएगा।
इसके अलावा केंद्रीय मंत्री ने कतर की कंपनियों को भारत के नवीकरणीय ऊर्जा, स्मार्ट सिटी, बुनियादी ढांचे, निवेश और विनिर्माण क्षेत्रों में अवसर तलाशने का आमंत्रण दिया। उन्होंने कहा कि भारत का विकसित भारत 2047 और कतर विजन 2030 दोनों देशों के लिए उज्जवल भविष्य की नींव रख सकते हैं।