प्रतिक्रिया | Saturday, July 06, 2024

राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की बैठक में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को गठबंधन का नेता चुना गया। लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद बुधवार को प्रधानमंत्री आवास में हुई बैठक में एनडीए के सभी घटक दल के नेताओं ने सर्वसम्मति से पीएम मोदी को नेता चुना और इस संबंध में प्रस्ताव पारित किया। प्रस्ताव में एनडीए के नेताओं ने पीएम मोदी को जीत की बधाई दी और उनके नेतृत्व पर भरोसा जताया। 

एनडीए घटक दलों के नेताओं ने पीएम मोदी पर भरोसा जताते हुए क्या कहा ?

मणिपुर के मुख्यमंत्री और भाजपा नेता एन बीरेन सिंह ने 2024 के लोकसभा चुनाव में जीत के बाद राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) में भरोसा जताते हुए कहा, “एनडीए को बहुमत मिला है। भाजपा ने 240 सीटें जीती हैं, यह सबसे बड़ी पार्टी है। संविधान के अनुसार, सबसे बड़ी पार्टी को (सरकार बनाने के लिए) आमंत्रित किया जाना चाहिए। इसमें कोई संदेह नहीं है। सहयोगी प्रतिबद्ध हैं।” 

वहीं महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे ने जोर देते हुए कहा कि नरेंद्र मोदी लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री के रूप में पदभार संभालेंगे। शिंदे ने गठबंधन के भीतर पीएम मोदी के समर्थन को रेखांकित करते हुए कहा, “सभी ने मोदी जी का समर्थन किया है, और बहुमत से अधिक लोग एनडीए के साथ हैं।” 

इन्हीं के साथ टीडीपी सांसद राम मोहन नायडू ने भी पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एक मजबूत सरकार के गठन की पुष्टि की, जो अगले पांच वर्षों में देश के लिए एक आशाजनक प्रक्षेपवक्र का संकेत है।

सांसद राम मोहन नायडू ने कहा, “मैं बैठक में नहीं था, लेकिन हमारे नेता चंद्रबाबू नायडू बैठक में थे। देश के लोगों को यह संदेश देना महत्वपूर्ण था कि एक मजबूत सरकार बनने जा रही है। एनडीए के सभी नेता खुश थे। 7 जून को एनडीए सांसदों की बैठक होगी और फिर 9 जून को पीएम मोदी प्रधानमंत्री के रूप में शपथ लेंगे। अगले पांच साल हमारे देश के लिए शानदार होने जा रहे हैं।”

नई सरकार के गठन पर चर्चा के लिए बुधवार को राष्ट्रीय राजधानी में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की बैठक में हिस्सा लेने के बाद टीडीपी प्रमुख चंद्रबाबू नायडू ने भी पुष्टि की कि टीडीपी एनडीए के साथ है।

वहीं असम गण परिषद (एजीपी) के अध्यक्ष और असम के मंत्री अतुल बोरा ने भी एनडीए सहयोगियों के बीच एकता और संतुष्टि की पुष्टि करते हुए लगातार तीसरी बार लोगों से मिले जनादेश पर जोर दिया। उन्होंने कहा, “हम एनडीए में हैं और हम एनडीए की बैठक में शामिल होने आए थे। टीडीपी, जेडी(यू) और अन्य प्रमुख दल बैठक में शामिल हुए। एनडीए के सभी सहयोगी खुश हैं। देश के लोगों ने लगातार तीसरी बार एनडीए को वोट दिया है। बोरा ने कहा, प्रधानमंत्री मोदी आगे बढ़कर नेतृत्व कर रहे हैं।”

एनडीए गठबंधन को बहुमत मिलने के बाद पहली बैठक

ज्ञात हो, पीएम मोदी ने भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष नेताओं के साथ बुधवार को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के नेताओं से मुलाकात की। यह लोकसभा चुनावों में गठबंधन को बहुमत मिलने के बाद पहली बैठक थी। एनडीए नेताओं ने मोदी पर भरोसा जताया है और उन्हें गठबंधन का नेता चुना है, जिससे उनके तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने का रास्ता साफ हो गया है।

एनडीए गठबंधन की बैठक में कौन-कौन हुए शामिल ?

एनडीए गठबंधन की बैठक में जेडीयू अध्यक्ष एवं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और टीडीपी के प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू सहित एनडीए के सभी घटक दलों ने अपना समर्थन पत्र नरेन्द्र मोदी को सौंपा। प्रधानमंत्री आवास पर हुई बैठक में भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा, राजनाथ सिंह, अमित शाह, चंद्रबाबू नायडू, नीतीश कुमार, शिवसेना शिंदे गुट के प्रमुख एकनाथ शिंदे, जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी, एलजेपी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान, हम के जीतनराम मांझी, जनसेना पार्टी के प्रमुख पवन कल्याण, राकांपा अजित पवार गुट के प्रफुल्ल पटेल एवं सुनील तटकरे, अपना दल (एस) की अनुप्रिया पटेल, रालोद के प्रमुख जयंत चौधरी, जेडीयू के राजीव रंजन सिंह एवं संजय झा, यूपीपी(एल) के अध्यक्ष प्रमोद बोरो, एजीपी के अतुल बोरा, आजसू के सुदेश मेहतो, एसकेएम के नेता इंदरा हैंग सुब्बा शामिल रहे। 

एनडीए की बैठक में नायडू और नीतीश कुमार की भागीदारी रही महत्वपूर्ण

उल्लेखनीय है कि बुधवार सुबह कैबिनेट की बैठक के बाद पीएम मोदी ने प्रधानमंत्री पद से अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को सौंप दिया। एनडीए की बैठक में नायडू और नीतीश कुमार की भागीदारी महत्वपूर्ण रही, क्योंकि भाजपा के लिए सरकार बनाने के लिए उनके दलों का समर्थन महत्वपूर्ण है। दरअसल, इस बार, भाजपा 272 के बहुमत के आंकड़े से 32 सीटें पीछे रह गई और सरकार बनाने के लिए वह अपने सहयोगियों पर निर्भर है। मंगलवार को भारत के चुनाव आयोग द्वारा घोषित परिणामों के अनुसार, भाजपा ने 240 सीटें और कांग्रेस ने 99 सीटें जीतीं। भाजपा ने 2019 के आम चुनावों में 303 सीटें और 2014 के आम चुनावों में 282 सीटें जीती थीं। 

ज्ञात हो, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल की सिफारिश के बाद 17वीं लोकसभा को भंग कर दिया है। राष्ट्रपति भवन की ओर से जारी एक बयान में कहा गया, “राष्ट्रपति ने 5 जून, 2024 को कैबिनेट की सलाह को स्वीकार कर लिया और संविधान के अनुच्छेद 85 के उप-खंड (2) द्वारा उन्हें प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए 17वीं लोकसभा को भंग करने के आदेश पर हस्ताक्षर किए।” (इनपुट-एएनआई)

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आखरी अपडेट: 6th Jul 2024