उत्तर प्रदेश सरकार ने बच्चों के नियमित टीकाकरण को बेहतर बनाने के लिए “राइज” (रैपिड इम्यूनाइजेशन स्किल एन्हांसमेंट) नामक ऐप लॉन्च किया है। इस ऐप के जरिए स्टाफ नर्स, एएनएम और हेल्थ विजिटर को डिजिटल प्रशिक्षण दिया जा रहा है, जिससे वे टीकाकरण प्रक्रिया को अधिक प्रभावी और व्यवस्थित तरीके से संचालित कर सकें।
यह ऐप स्वास्थ्यकर्मियों को टीकाकरण प्रबंधन, टीका सुरक्षा, कोल्ड चेन प्रबंधन, टीकाकरण के बाद होने वाले प्रभाव और उन लोगों की निगरानी में मदद करेगा जो किसी कारणवश अपने बच्चों का टीकाकरण नहीं करवाते। इस पहल का मुख्य उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि राज्य में कोई भी बच्चा टीकाकरण से वंचित न रहे।
राज्य प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ. अजय गुप्ता के मुताबिक पहले इस ऐप को देश के 181 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लागू किया गया था, जहां यह सफल रहा। अब इसे पूरे उत्तर प्रदेश के सभी 75 जिलों में लागू कर दिया गया है। जिलास्तरीय अधिकारियों का प्रशिक्षण पूरा हो चुका है और वर्तमान में ब्लॉक स्तर के अधिकारियों का प्रशिक्षण जारी है। इस ऐप से लगभग 52,175 टीकाकरणकर्ता लाभान्वित होंगे, जिससे राज्य में टीकाकरण अभियान को और अधिक प्रभावी बनाया जा सकेगा।
इस ऐप की सबसे बड़ी खासियत यह है कि यह स्वास्थ्यकर्मियों तक टीकाकरण से जुड़ी नई जानकारी और दिशा-निर्देशों को तेजी से पहुंचाएगा। पहले, जब कोई नई तकनीक या दिशा-निर्देश आते थे, तो उन्हें स्वास्थ्यकर्मियों तक पहुंचाने में समय लगता था, जिससे टीकाकरण प्रक्रिया प्रभावित होती थी। लेकिन “राइज” ऐप के माध्यम से यह जानकारी तुरंत और सही तरीके से पहुंचेगी, जिससे टीकाकरण अधिक सुचारू रूप से किया जा सकेगा।
प्रशिक्षण प्रणाली को पांच मॉड्यूल में बांटा गया है, और प्रशिक्षकों द्वारा हर 15 दिन में स्वास्थ्यकर्मियों को इसका प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण के बाद मूल्यांकन किया जाएगा, जिसमें 85% से अधिक अंक प्राप्त करने वालों को “गोल्ड सर्टिफिकेट” और 70-85% अंक प्राप्त करने वालों को “सिल्वर सर्टिफिकेट” प्रदान किया जाएगा।