इस वर्ष दुनियाभर के 150 से अधिक देशों में आयुर्वेद दिवस मनाया जाएगा। आयुष मंत्रालय “वैश्विक स्वास्थ्य के लिए आयुर्वेद नवाचार” थीम पर 29 अक्टूबर को 9वां आयुर्वेद दिवस मनाने के लिए पूरी तरह तैयार है।
आयुर्वेद दिवस अब वैश्विक अभियान
आयुष मंत्रालय की तरफ से बताया गया है कि आयुर्वेद दिवस के दिन अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान (एआईआईए) में भव्य कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। इस आयोजन की तैयारियों की समीक्षा के बाद केंद्रीय आयुष राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) प्रतापराव जाधव ने बताया कि आयुर्वेद दिवस अब वैश्विक अभियान बन चुका है। इस वर्ष 150 से अधिक देशों में आयुर्वेद दिवस समारोह मनाया जाएगा।
आयुर्वेद दिवस की थीम “वैश्विक स्वास्थ्य के लिए आयुर्वेद नवाचार”
उन्होंने बताया कि इस वर्ष की थीम “वैश्विक स्वास्थ्य के लिए आयुर्वेद नवाचार” से वैश्विक स्वास्थ्य के लिए आयुर्वेद के योगदान को नई दिशा देती है। दिवस का उद्देश्य जन कल्याण के लिए आयुर्वेद को सशक्त चिकित्सा प्रणाली के रूप में वैश्विक स्तर पर बढ़ावा देना है। इसके तहत अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान ने देशभर में एक महीने तक चलने वाले कार्यक्रमों की शुरुआत की है।
100 से अधिक देशों में आयुर्वेद उत्पादों का निर्यात
मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने बताया कि आयुर्वेद दिवस उत्सव के माध्यम से आयुष गैर-संचारी रोगों, मानसिक स्वास्थ्य, एंटीमाइक्रोबियल रसिस्टेंस और वृद्धावस्था देखभाल (जीरिआर्टिक केयर) सहित महत्वपूर्ण स्वास्थ्य विषयों के लिए समकालीन विज्ञान के साथ आयुर्वेद को एकीकृत करने पर ध्यान केंद्रित करता है। आयुर्वेद का ज्ञान विभिन्न डिजिटल प्लेटफार्मों के माध्यम से आम जनता के लिए आसानी से उपलब्ध कराया जा रहा है, जिसमें आयुष ग्रिड के तहत आयुर्ज्ञान योजना, आयुष अनुसंधान पोर्टल और नमस्ते पोर्टल जैसी प्रमुख पहल शामिल हैं। वर्तमान समय में आयुर्वेद को दुनिया भर के 24 देशों में मान्यता प्राप्त है, जबकि आयुर्वेद उत्पादों का निर्यात 100 से अधिक देशों में होता है। इस वर्ष के समारोह में स्टार्टअप्स और उद्योग की महत्वपूर्ण भागीदारी देखने को मिलेगी, जिससे आयुर्वेद को वैश्विक स्वास्थ्य नवाचार के केंद्र में लाया जा सकेगा। विश्व भर के आयुष प्रोफेशनल्स इस वर्ष की थीम “आयुर्वेद में नवाचार” को लेकर विशेष रूप से उत्साहित हैं।
युवाओं को आयुर्वेद को अपनाने और स्वयं के स्टार्टअप शुरू करने के लिए प्रेरित
आयुष मंत्रालय के सलाहकार और नॉर्थ ईस्ट आयुर्वेद और होम्योपैथी संस्थान शिलांग के निदेशक डॉ. मनोज नेसारी ने कहा कि दुनियाभर के लोगों की भौगोलिक सीमाओं, धर्म, जातीयता और सामाजिक स्थिति से परे उनके स्वास्थ्य देखभाल में आयुर्वेद की प्रासंगिकता है। नवाचार पर विशेष ध्यान हमारे युवाओं को आयुर्वेद को अपनाने और स्वयं के स्टार्टअप शुरू करने के लिए प्रेरित करेगा। इस वर्ष के आयुर्वेद दिवस उत्सव में एक स्वस्थ और स्थायी वैश्विक स्वास्थ्य व्यवस्था निर्मित करने के लिए समर्पित प्रोफेशनल्स, शोधकर्ताओं और स्टार्टअप्स का असाधारण संगम देखने को मिलेगा।
बता दें कि प्रतिवर्ष धन्वंतरि जयंती (धनतेरस) के अवसर पर आयुर्वेद दिवस का उत्सव आयोजित किया जाता है। आयुर्वेद दिवस के मुख्य आयोजन से पूर्व पूरे महीने देशभर में विभिन्न कार्यक्रम और गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं जो स्वास्थ्य संवर्धन और रोगों की रोकथाम में आयुर्वेद के महत्व को उजागर करती हैं।