गुयाना की संसद को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने गुरुवार को कहा कि गुरुवार को कहा कि भारत और गुयाना ने उपनिवेशवाद से अपनी आजादी हासिल करने के लिए संघर्ष किया है, साथ ही उन्होंने जोर देकर कहा कि दोनों देश ‘लोकतंत्र पहले, मानवता पहले’ के सिद्धांत में विश्वास करते हैं।
पीएम मोदी ने लोकतंत्र और मानवता का किया जिक्र
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा, “लोकतंत्र पहले, मानवता पहले हमारा मंत्र है। लोकतंत्र हमें सिखाता है कि सभी के साथ समान व्यवहार किया जाना चाहिए और सभी को साथ लेकर चलना चाहिए, जबकि ‘मानवता पहले’ हमारे निर्णयों की दिशा निर्धारित करता है। पीएम मोदी ने तीन देशों की अपनी यात्रा के तीसरे और अंतिम चरण में गुयाना की संसद के विशेष सत्र को संबोधित करते हुए कहा, “जब हम अपने निर्णयों का आधार ‘मानवता सर्वप्रथम’ बनाते हैं, तो परिणाम भी मानवता के हित में होते हैं।”
उन्होंने कहा कि जब भारत और गुयाना को स्वतंत्रता मिली थी, तब दुनिया के सामने अलग-अलग चुनौतियां थीं और आज 21वीं सदी में चुनौतियां बिल्कुल अलग हैं। “द्वितीय विश्व युद्ध के बाद बनी व्यवस्थाएं और संस्थाएं अब नष्ट हो रही हैं। जबकि दुनिया को एक नई विश्व व्यवस्था की ओर आगे बढ़ना था, देश दूसरी चीजों में उलझ गए। इन परिस्थितियों में दुनिया को आगे बढ़ाने का सबसे शक्तिशाली मंत्र है ‘लोकतंत्र पहले’, ‘मानवता पहले’।” उन्होंने कहा कि समावेशी समाज बनाने के लिए लोकतंत्र से बड़ा कोई माध्यम नहीं है, उन्होंने कहा कि लोकतंत्र भारत के डीएनए में है।
‘लोकतंत्र हमारी दृष्टि और हमारे व्यवहार में’
उन्होंने आगे कहा, “लोकतंत्र हमारी दृष्टि और हमारे व्यवहार में है। इसलिए जब दुनिया को एकजुट करने की बात आई, तो भारत ने अपने G20 प्रेसीडेंसी के दौरान एक धरती, एक परिवार, एक भविष्य का मंत्र दिया। जब कोरोना संकट आया, पूरी मानवता के सामने एक चुनौती आई, तब भारत ने एक धरती, एक स्वास्थ्य का संदेश दिया।”
पीएम मोदी ने कहा कि यह दुनिया के लिए संघर्ष का समय नहीं है, बल्कि यह समय संघर्ष पैदा करने वाली स्थितियों की पहचान करने और उन्हें दूर करने का है।उन्होंने कहा, “आज आतंकवाद, ड्रग्स, साइबर अपराध जैसी कई चुनौतियां हैं… इनसे लड़कर ही हम अपनी आने वाली पीढ़ियों का भविष्य संवार पाएंगे।”
सर्वोच्च सम्मान के लिए गुयाना का जताया आभार
अपने उद्घाटन भाषण में पीएम मोदी ने कहा कि गुयाना ने बुधवार को उन्हें अपना सर्वोच्च सम्मान दिया। “मैं इस सम्मान के लिए आप सभी का, गुयाना के हर नागरिक का, हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ। यहां के सभी नागरिकों का बहुत-बहुत धन्यवाद। मैं यह सम्मान भारत के हर नागरिक को समर्पित करता हूं।”
इससे पहले, पीएम मोदी ने यहां दूसरे भारत-कैरिकॉम शिखर सम्मेलन के दौरान सेंट लूसिया, एंटीगुआ और बारबुडा, ग्रेनेडा, बारबाडोस, बहामास, त्रिनिदाद और टोबैगो, सूरीनाम और डोमिनिका जैसे कैरेबियाई देशों के शीर्ष नेताओं से मुलाकात की और द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने तथा कई प्रमुख क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर चर्चा की। पीएम मोदी ने बुधवार को अपनी बारबाडोस समकक्ष मिया अमोर मोटली से मुलाकात की।