केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2024-25 के लिए आर्थिक सर्वेक्षण लोकसभा और राज्यसभा में पेश किया। इसके तुरंत बाद, दोनों सदनों को दिन भर के लिए स्थगित कर दिया गया। परंपरा अनुसार वित्त मंत्री ने अगले वित्तीय वर्ष- 2025-26 के लिए बजट प्रस्तुति से एक दिन पहले संसद में अर्थव्यवस्था की पूर्व-बजट विस्तृत स्थिति का दस्तावेज पेश किया।
आर्थिक सर्वेक्षण क्या है ?
वित्त मंत्रालय में आर्थिक मामलों के विभाग के आर्थिक प्रभाग द्वारा तैयार और मुख्य आर्थिक सलाहकार की देखरेख में तैयार किया गया आर्थिक सर्वेक्षण दस्तावेज, 2024-25 (अप्रैल-मार्च) की अर्थव्यवस्था की स्थिति और विभिन्न संकेतकों और अगले वित्तीय वर्ष के लिए कुछ दृष्टिकोण के बारे में जानकारी देता है।
आर्थिक सर्वेक्षण दस्तावेज आम तौर पर शनिवार को पेश किए जाने वाले 2025-26 के वास्तविक बजट के स्वर और बनावट के बारे में भी कुछ जानकारी देता है।
रिपोर्ट के अनुसार पहला आर्थिक सर्वेक्षण 1950-51 में अस्तित्व में आया था, जब यह बजट दस्तावेजों का हिस्सा हुआ करता था। 1960 के दशक में इसे बजट दस्तावेजों से अलग कर दिया गया और केंद्रीय बजट से एक दिन पहले इसे पेश किया गया।
अर्थव्यवस्था की क्या है स्थिति ?
चालू वित्त वर्ष 2024-25 की जुलाई-सितंबर तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था वास्तविक रूप से 5.4 प्रतिशत बढ़ी। बता दें तिमाही वृद्धि आरबीआई के 7 प्रतिशत के पूर्वानुमान से काफी कम थी। अप्रैल-जून तिमाही में भी भारत की जीडीपी अपने केंद्रीय बैंक के अनुमान से धीमी गति से बढ़ी। रिजर्व बैंक ने अपनी नवीनतम मौद्रिक नीति में 2024-25 के लिए भारत के विकास पूर्वानुमान को 7.2 प्रतिशत से घटाकर 6.6 प्रतिशत कर दिया था। सरकार को 6.4 प्रतिशत की वृद्धि की उम्मीद है।
बात करें वित्त वर्ष 2023-24 की तो इस दौरान भारत की जीडीपी में 8.2 प्रतिशत की प्रभावशाली वृद्धि हुई और यह सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था बनी रही। वहीं 2022-23 में अर्थव्यवस्था 7.2 प्रतिशत और 2021-22 में 8.7 प्रतिशत बढ़ी।
बजट सत्र 2025
ज्ञात हो, संसद का बजट सत्र आज शुक्रवार 31 जनवरी से शुरू हो गया है और तय कार्यक्रम के अनुसार 4 अप्रैल को समाप्त होगा। इसी क्रम में बजट 1 फरवरी को पेश किया जाएगा। बजट के दिन वित्त मंत्री सुबह 11 बजे लोकसभा में केंद्रीय बजट पेश करेंगी। बजट भाषण में सरकार की राजकोषीय नीतियों, राजस्व और व्यय प्रस्तावों, कराधान सुधारों और अन्य महत्वपूर्ण घोषणाओं की रूपरेखा होगी। इस आगामी बजट प्रस्तुति के साथ, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आठवां बजट पेश करेंगी। (इनपुट-एएनआई)